चना में फली छेदक कीट

चने में फली छेदक कीट का नियंत्रण - हिंदी में चने के Pod Borer की जानकारी पढ़ें!

किसान भाइयो चने की फसल में कई तरह के कीटों का प्रकोप देखने को मिलता है। जिसके कारण उत्पादन में भारी कमी हो सकती है।  चने  की फसल में लगने वाले कीटों में से एक है चने में फली छेदक कीट। इसका प्रकोप होने पर चने की पैदावार में 30 से 40 प्रतिशत तक कमी आती है। 

चने में फली छेदक कीट के लक्षण | Symptoms of pod borer in gram / chickpea

चने में फली छेदक कीट एक पॉलीफैगस कीट है,जो चने की फसल के साथ और दूसरी फसल जैसे - सेम, कुसुम, मिर्च, मूंगफली, तंबाकू, कपास को संक्रमित करता है। 

चने में फली छेदक कीट लक्षण:-  चने में फली छेदक कीट की केवल सूंडी ही नवंबर माह से मार्च तक चने की फसल को अधिक मात्रा में नुकसान पहुंचाती है। चने में फली छेदक कीट शुरुआत में यह कोमल पत्तियों एवं टहनीयों को खाती है बाद में फल आने पर छेद करके आधी अंदर एवं आधी बहार होती है। और फली के दानो को खा कर ख़राब करती हे जिससे दानो की गुणवत्ता में कमी देखने को मिलती हे तथा प्रति एकड़ उत्पादन में कमी देखने को मिलती हे।  

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चने में फली छेदक कीट का रासायनिक नियंत्रण | Chemical control of pod borer in gram / chickpea

  1. धानुका प्रोरिन (प्रोफेनोफोस 40% + साइपरमेथ्रिन 4% ईसी)  400 मिली, 150 - 200 लीटर पानी में घोल कर फसल में छिड़काव करे।  
  2. धानुका ईएम 1 (एमेमेक्टिन बेंजोएट 5% एसजी) 100 ग्राम, 150 - 200 लीटर पानी में घोल कर फसल में छिड़काव करे।  
  3. अदामा प्लेथोरा (नोवालुरॉन 5.25% + इंडोक्साकार्ब 4.5% एससी) 300 मिली, 150 - 200 लीटर पानी में घोल कर फसल में छिड़काव करे।  
  4. फएमसी कोरेजेन (क्लोराँट्रानिलिप्रोल 18.5% ) 60 मिली, 150 - 200 लीटर पानी में घोल कर फसल में छिड़काव करे। 
  5. धानुका लार्गो (स्पाइनेटोरम 11.7% एससी) 180 - 200 मिली, 150 - 200 लीटर पानी में घोल कर फसल में छिड़काव करे। 

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प्रोडक्ट का नाम 

मार्केट रेट 

भारतॲग्री रेट

धानुका प्रोरिन

491

465

धानुका ईएम 1

551

254

अदामा प्लेथोरा

1720

1467

FMC कोरेजेन

1320

880

धानुका लार्गो

2475

2221

 

चने में फली छेदक कीट का जैविक नियंत्रण  | Biological control of pod borer in gram / chickpea 

  1. गर्मियों में खेत की गहरी जोताई करें ।
  2. सुण्डियों को पकड़ कर नष्ट कर दें ।
  3. प्रदेशीय संस्तुत कीट प्रतिरोधी प्रजातियों के बीजों की बुवाई करनी चाहिए।
  4. ज्वार, मक्का आदि के साथ अंत: फसल पद्धति तथा किनारों पर गेंदा उगाना चाहिए।
  5. सन्तुलित व संस्तुत मात्रा में खाद व पानी का उपयोग करना चाहिए।
  6. निरिक्षण के लिए खेतों में फेरोमोन ट्रैप  5 से 6 प्रति एकड़ की दर से लगाने चाहिए।
  7. कीट भक्षी पक्षियों बैठने के लिए T आकार की खुंटीयाँ (अड्डे) 20 -२५ प्रति एकड़ की दर से खेत में लगानी चाहिए।
  8. नीम तेल का 2 से 5 मिली प्रति लीटर के हिसाब से छिड़काव करे। 

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प्रोडक्ट का नाम 

मार्केट रेट 

भारतॲग्री रेट

फेरोमोन ट्रैप 

705

605

नीम तेल

465

379

 

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